Saturday, 20 August 2016

AKTU CIRCULAR ABOUT 40 GRACE MARKS RULE FOR PASS-OUT STUDENTS .

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नया 40 नम्बर ग्रेस वाला नियम विभिन्न पाठ्यक्रमों (एम्.टेक, एम्.फार्म, एवं एम्. आर्क को छोड़कर) में ग्रेस अंक को निम्न व्यवस्था सत्र 2015-2016 या इसके पूर्व सत्रों में प्रवेशित छात्रों जो अंतिम वर्ष की परीक्षा दे चुके हैं, और उनके पूर्व वर्ष में अभी कैरी ओवर हैं, को पाठ्यक्रम के लिए अनुमन्य अधिकतम ग्रेस अंक में से उपयोग किए गए ग्रेस अंक को घटाते हुए विभिन्न विषयों में निम्न शर्त के अधीन ग्रेस प्रदान करने का निर्णय लिया गया है I

“40 Grace Marks may be awarded only in those subjects in which the candidate has secured atleast 15% marks in the end semester theory examination provided further to such a candidate the highest of the marks obtained by the candidate in any subject in various attempts shall be considered”

Official Circular by AKTU on aktu . ac. in  :

For More Circulars Visit : www.theAKTUmedia.com

Wednesday, 20 July 2016

What is CBCS AND HOW it will be applicable for students AKTU : New Rule (No YB in AKTU) : CBCS ( Choice Based Credit System in AKTU )

Choice-Based Credit System
What is CBCS AND HOW it will be applicable for students AKTU : New Rule (No YB in AKTU) : CBCS ( Choice Based Credit System in AKTU ) : Read Article Below :

Tired of relentless protests by students failing in the exam, Dr. APJ Abdul Kalam Technical University has decided to pass everyone by introducing the choice-based credit system (CBCS) from academic session 2016-17. With CBCS, no marks will be awarded to students in any of the semesters. Instead, students will have to score a minimum number of credits each semester. The move will benefit over 4 lakh students studying in more than 400 colleges of AKTU.

University pro vice-chancellor VK Singh said, "With CBCS, there will be no 'year back' and all students will be allowed to go through the next semester. We are not failing the students but ensuring that students clear their papers in a longer duration." He added that students can attend summer classes to complete their credits. Till now, if a AKTU student failed in four out of 10 subjects in a year, he was declared having a 'year back' and was not promoted.

Credit defines the quantum of content or syllabus prescribed for a course. It may be in the form of a unit prescribed for a course and is determined by the number of hours of instruction required per week.The new format makes it compulsory for each student to score minimum of 23 credits per semester. If a student is unable to secure the minimum credits, they will be promoted to the next semester and given a chance to obtain the remaining credits of first semester along with the minimum credits for second semester. This process, explained officials, will continue for all eight semesters. At the end of four years, if a student has still not completed the total minimum credits, he will be given three years to complete the course.

 CBCS will comprise two kinds of courses: core and elective. There will be a core course in every semester which would be compulsory for a student to study to earn a degree. The elective course can be chosen from a pool of papers. These courses will support the discipline of study.On Wednesday, the university also decided to end the general proficiency marks allotted to students for participation in extra-curricular activities and maintaining discipline. while their stay in the college.
"The purpose of general proficiency was defeated. There was no objectivity but favouritism by the teachers in awarding marks for general proficiency," said Singh.
All colleges affiliated to AKTU have been instructed to complete the process of branch change by August 30.

Sunday, 26 June 2016

इंजीनियर हूँ, कुछ और नहीं ( I'm an engineer, nothing else.)

नेता नहीं,एक्टर नहीं, रिश्वत खोर नहीं,
शुक्र है इंजीनियर हूँ, कुछ और नही ।

न मैं स्पाइसजेट में घूमने वाला गरीब हूँ,😜
न मैं किसी पार्टी के करीब हूँ...
किसी रोहित वेमुला के मर्डर पर मैं लड़ता नही,
कभी राष्ट्रीयता की बहस में मैं पड़ता नहीं...
मैं जन धन का लूटेरा या टैक्स चोर नहीं,
शुक्र है इंजीनियर हूँ कुछ और नहीं...

न मेरे पास मंच पर चिल्लाने का वक्त हैं,
न मेरा कोई दोस्त अफज़ल याकूब का भक्त है...
न मुझे देश में देश से आज़ादी का अरमान है,
न मुझे 2-4 पोथे पढ़  लेने का गुमान हैं...
मेरी मौत पर गन्दी राजनीति नहीं, कोई शोर नही,
शुक्र हैं  इंजीनियर हूँ कुछ और नही ...

मेरे पास मैडल नही वापस लौटाने को,
नक़ली आँसू भी नही बेवजह बहाने को...
न झूठे वादे हैं, न वादा खिलाफी है,
कुछ देर चैन से सो लू इतना ही काफी हैं...
बेशक खामोश हूँ, मगर कमज़ोर नही,
शुक्र है इंजीनियर हूँ, कुछ और नही...

dedicated to all engineers ...

Saturday, 25 June 2016

आपकी राय : क्या ऐकेटीयू को इस साल भी स्पेशल कैरी ओवर (SCOP) कराने चाहिए ?

क्या ऐकेटीयू को इस साल भी स्पेशल कैरी ओवर (SCOP) कराने चाहिए ? ?
हाँ
नहीं
पता नहीं
कभी नहीं
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Friday, 24 June 2016

AKTU के छात्रों को आन्दोलन(STRIKE) क्यों करना चाहिए ?

AKTU के छात्रों को आन्दोलन(STRIKE) क्यों करना चाहिए ?
प्राइवेट कॉलेजों कि मनमानी के खिलाफ ?
रिजल्ट जल्दी निकले, इसलिये ?
छात्र आन्दोलन नहीं, SCOP चाहते हैं I
बिना आन्दोलन के यूनिवर्सिटी SCOP नहीं कराएगी I
बिना आन्दोलन तो आजकल यूनिवर्सिटी रिजल्ट भी नहीं दे रही I
Survey Maker

Friday, 4 March 2016

कौन सी आजादी चाहिए, इनको ?

"कन्हैया" तुम आज़ादी मांग रहे हो ?? 
पर किस से आजादी चाहिये भाई ?? 
और पिछले कांग्रेस सरकार में कहाँ थे तुम ??
तुम इतने आज़ाद  हो, कि कुछ भी बोल रहे हो, और प्राइम टाइम पर तुम्हारी बचकानी बातो को दिखाया जा रहा है |
जब से नयी सरकार आई है तब से तुम लोगों की धडकने तेजी से धडकने लगी है | 
क्योंकि कांग्रसियो और वामपंथियों की साठगाठ रही है :
१. राजनीती को कांग्रेसी चलाएंगे,
२. वामपंथी शिक्षा को चलाएंगे I
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पर मोदी सरकार के आने के बाद सारा काम सही तरीके से होने लगा तो इनका दम घुटने लगा और इनके आस्तित्व पर प्रश्न चिन्ह उठने लगा है, तो ऐसी स्तिथि में वामपंथियो और कांग्रेसियो की यह गतिविधि स्वाभाविक ही है | यही है सत्य, 

और रही बात राहुल गाँधी और केजरीवाल के द्वारा तुम्हें सपोर्ट करने की तो जनता भी सब जानती है |

जेल से रिहाई  के बाद छात्र संघ के अध्यक्ष का भाषण सुनने लायक था वैसे भी बातें करने में तुम JNU वालों से कोई जीत नहीं सकता है | JNU में हमेशा लाल सलामी वालो का दबदबा रहा है, वो चाहे अध्यापकगण हों या छात्र यूनियन लेकिन JNU में आज भी तमाम समस्या मौजूद हैं | जो भी यूनियन आती है, वो बातें सिर्फ उन विषयो पर करती है, जो कैंपस के बहार के हैं, और जिन पर वो कुछ कर भी नही सकते हैं, क्योकि बात करने की आजादी है, और काम हमे कुछ करना नही हैं । 
अरे बुडबक "कन्हैया" तुम आते हो बिहार से, तुम्हें आज़ादी चाहिए गरीबी से, भुखमरी से, बदहाली से, और बिहार की सत्ता रही हमेशा समाजवादियों, कांग्रेसियों, वामपंथियो के हाथ यही हाल केंद्र की सत्ता का भी रहा ज्यादातर - तो गरीबी का कारण, भुखमरी का कारण वही आपके समाजवादी और कांग्रेसी भाई ही तो हुए - फिर "राष्ट्रिय स्वयं सेवक संघ" और "भाजपा" पर हवाई फायर का मकसद उन गरीबों के असली गुनाहगारों "कांग्रेसियों" और "समाजवादियों" से लोगों का ध्यान भटकाना क्यों ना माना जाये । "पश्चिम बंगाल" में तो 25 साल तक "लाल-सलाम" वाले शासन में थे, गरीबी से आज़ादी, भुखमरी से आज़ादी मिल गयी वहाँ या गरीबी और भुखमरी बढ़ गयी वहां ?
अगर भारत माता की जय नहीं बोल सकते हो, तो तुम्हें कोई अधिकार नहीं है, भारत में रहने का I और JNU वालो तुम तो खा भारत सरकार की दी हुयी सब्सिडी से रहे हो, और गरिया भी भारत माँ को रहे हो I   

संजीव शर्मा, प्रदेश प्रमुख, ABVP - मेरठ प्रान्त (तकनीकी शिक्षा)

Wednesday, 2 March 2016

ABVP PROTEST AGAINEST BNCET COLLEGE LUCKNOW

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‪#‎BNCET‬ के छात्र लवकेश मिश्रा ने अपने विभागाध्यक्ष (HOD) की प्रताड़नाओं से तंग आ कर कल ख़ुदकुशी कर ली । छात्र के प्रतिदिन कॉलेज आने के बाद भी उसकी उपस्थिति दर्ज नहीं की जाती थी और उसके बाद एडमिट कार्ड उपलब्ध कराने के लिए छात्र से ₹20,000 की अवैध मांग की जा रही थी । छात्र ने अपने 4 पन्ने के सुसाइड लैटर में सीधे तौर पर अपने HOD को जिम्मेदार ठहराया हैं ।
इसके बाद आज इन्साफ की गुहार लगा रहे सहपाठियों को भी कॉलेज प्रशासन ने धमकाने का प्रयास किया ।
इसके विरोध में 26 फरवरी 2016 को ‪#‎ABVP‬ ने BNCET पर जोरदार प्रदर्शन किया, जिसके बाद पुलिस ने आरोपी HOD को धारा 306 में निरुद्ध कर के जेल भेज दिया । 
लेकिन सबसे बड़ा सवाल ये हैं की प्राइवेट इंजीनियरिंग कॉलेजों की ऐसी मनमानी कब तक चलती रहेगी??
और क्या इस आत्महत्या के लिए UPTU प्रशासन भी उतना ही जिम्मेदार नहीं हैं जिसने UPTU कार्यालय में समस्याओं के लिए छात्रों के आने पर रोक लगा रखी हैं ??